Wednesday, October 08, 2014

एक बार इस राह पे मारना सौ जन्मों के सामान है

देख के वीरों की क़ुरबानी अपना दिल भी डोला-मेरा रंग दे बसंती चोला-
आज ही के दिन दिनांक 7 अक्टूबर 1930 को लाहौर कांड का फैसला सुनाया गया था ।
शहीद - ए - आजम भगत सिंह जी,
शहीद सुखदेव जी,
शहीद राजगुरु जी, 
को सांङर्स की हत्या के मामले में फांसी की सजा सुनाई गई थी ।

और 8 साथियों को
1 - बटुकेश्वर दत्त जी
2 - शिव वर्मा जी
3 - जय देव कपूर जी
4 - विजय कुमार सिन्हा जी
5 - शहीद महावीर सिंह जी
6 - गयाप्रसाद जी
7 - किशोरी लाल जी
8 - कवलनाथ तिवारी जी

को आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई थी।

कुंदनलाल जी को 7 साल का कारावास की सजा
सुनाई गई थी ।

और...

प्रेम दत्त जी को 5 साल का कारावास की सजा सुनाई गई थी ।

बाकी तीन साथियों को सरकारी गवाह बनने पर सजा से मुक्त कर दिया गया था ।

जितेंद्रनाथ सान्याल
अजय घोष
देश राज
 — 

  • Kranti Kumar Katiyar J.n.sanyal,ajoy ghosh,deshraj ko koi sabut na milne par riha kiya gaya.ye teeno sarkari gawah nahi the. Please correct it......@ i am son of dr.gaya prasad ( transporation for life) . Thanks.
    10 hrs · Edited · Like · 4
  • Jagmohan Singh Here are the young revolutionaries who challanged the British imperialism and shaked it to its roots. They were sentenced for waging war against british king.
    10 hrs · Unlike · 4
  • Arpan Sanyal Yes i too agreed with Kranti Kumar Katiyar ji.. plz update the information Admin

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